दमोह- मध्य प्रदेश के दमोह जिले में 10 अक्टूबर को ग्राम सतरिया (परसिया क्षेत्र) में ओबीसी समुदाय के युवक पुरुषोत्तम कुशवाहा के साथ हुई अमानवीय घटना पर अब सामाजिक संगठनों ने कड़ा रुख अपनाया है। ओबीसी महासभा की मध्य प्रदेश इकाई ने सभी स्तरों के पदाधिकारियों और सदस्यों को निर्देश जारी कर 16 अक्टूबर को दमोह जिला मुख्यालय में एक विशाल "सामाजिक न्याय महाआंदोलन" आयोजित करने का ऐलान किया है। इस घटना में आरोपी अन्नू पांडे समेत कई लोग फरार बताए जा रहे हैं, जबकि पुलिस ने एफआईआर दर्ज कर ली है।
ओबीसी महासभा के राष्ट्रीय कार्यालय से जारी सूचना के अनुसार घटना ने पूरे समाज को झकझोर दिया है। कुशवाहा समाज के युवक पुरुषोत्तम के साथ गाँव के कुछ "सामंतवादी और मनुवादी मानसिकता" वाले लोगों ने जातिगत आधार पर सार्वजनिक अपमान किया। उन्हें कथित तौर पर पैर धोने और वही पानी पीने के लिए मजबूर किया गया, जो संविधान की समानता और मानव गरिमा के खिलाफ है। सूचना में कहा गया है कि कई आरोपी अभी तक फरार हैं और प्रशासन ने दोषियों पर संवैधानिक दंडात्मक कार्रवाई सुनिश्चित नहीं की है।
जानकारी के अनुसार गांव में शराबबंदी पूर्ण रूप से प्रतिबंधित थी लेकिन अन्नू पांडे शराब बेंचता था। उसके लिए उसे 2100 रुपए का जुर्माना लगाया गया था। इसी संबंध में पुरुषोत्तम कुशवाहा ने जूता गले में डली हुई मीम बना दी। इससे गांव के ब्राह्मणों को अन्नू पांडे का बदला लेने का मौका मिल गया। पुरुषोत्तम कुशवाहा ने 15 मिनट के अंदर ही डिलीट कर दिया था लेकिन गांव में उसे इतना डराया धमकाया गया।
ग्रामीण स्तर पर तनाव बढ़ गया और पुरुषोत्तम को अपमानित करने की घटना घटी। वायरल हो रहे वीडियो में दिख रहा है कैसे जातिवादी मानसिकता के कुछ लोगों ने पुरुषोत्तम को माफ़ी मांगने के लिए बाध्य किया, शिवलिंग के सामने प्रणाम करवाया और थाली में अन्नू के पैर धुलवाने के बाद वही पानी पीने को मजबूर किया। पुरुषोत्तम को यह कहने को मजबूर किया गया कि उसने सोशल मीडिया पर पोस्ट डाल कर जो गलती की है, उसके लिए माफ़ी मागते हुए अन्नू पांडे का चरण चरण धोकर 'चरणामृत' पी रहे हैं और भविष्य में यूँ ही ब्राह्मणों को पूजते रहेंगे।
इस अन्याय के विरोध में राष्ट्रीय कोर कमेटी के निर्देश पर 16 अक्टूबर (गुरुवार) को दमोह में महाआंदोलन होगा। संगठन ने प्रदेश, संभाग, जिला, ब्लॉक और ग्राम स्तर के सभी पदाधिकारियों, कार्यकर्ताओं, समाजबंधुओं और मोर्चा प्रभारियों से अधिक से अधिक संख्या में शामिल होने का आह्वान किया है। उद्देश्य संविधान, समानता और गरिमा की रक्षा के लिए इस लड़ाई को मजबूत बनाना है। राकेश सिंह लोधी, कार्यकारी प्रदेश अध्यक्ष, ओबीसी महासभा मध्य प्रदेश ने इसकी पुष्टि की है।
दूसरी ओर, पीड़ित पुरुषोत्तम कुशवाहा ने समाज के सहयोग से पुलिस में अपनी रिपोर्ट दर्ज कराई है। उन्होंने बताया कि समाज बंधुओं का समर्थन मिलने के बाद उन्होंने थाना पटेरा में शिकायत दर्ज कराई और कहा, "मुझे जो भी कानून के मुताबिक न्याय मिले, वह पर्याप्त है।" पुरुषोत्तम ने घटना के बाद ₹5100 का जुर्माना वसूला जाना और ब्राह्मण समुदाय से माफी मांगने को मजबूर करने का भी जिक्र किया।
पुलिस ने पहले ही एफआईआर दर्ज कर दोनों पक्षों पर प्रतिबंध लगाए हैं और क्षेत्र में भ्रमण बढ़ा दिया है। वरिष्ठ अधिकारी शांति व्यवस्था बनाए रखने के लिए संवाद कर रहे हैं। यह आंदोलन दमोह में जातिगत तनाव को और भड़का सकता है, इसलिए प्रशासन सतर्क है। ओबीसी महासभा ने अपील की है कि आंदोलन शांतिपूर्ण रहे, लेकिन दोषियों को सजा दिलाने तक संघर्ष जारी रहेगा।
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