लोकसभा चुनाव 2024ः प्रथम चरण में 1625 प्रत्याशियों में महज 8 प्रतिशत महिलाएं!

21 राज्यों की कुल 102 सीटों पर होगा मतदान कल. यूपी की आठ लोकसभा सीटें भी शामिल।
लोकसभा चुनाव 2024.
लोकसभा चुनाव 2024.ग्राफिक- द मूकनायक

नई दिल्ली। लोकसभा चुनाव के पहले चरण का प्रचार अभियान गत बुधवार को थम गया। पहले चरण का मतदान शुक्रवार 19 अप्रैल को है। पहले दौर के चुनाव में 21 राज्यों की कुल 102 सीटों पर वोटिंग होनी है। इस चरण में मतदाता चुनाव मैदान में उतरे 1625 प्रत्याशियों के भाग्य का फैसला करेंगे। चुनाव आयोग के मुताबिक, इलेक्शन के पहले फेज में कुल 1,625 कैंडिडेट्स मैदान में हैं, जिनमें 1,491 पुरुष और 134 महिला उम्मीदवार हैं। इनमें महिलाएं केवल 8% हैं। 

एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म (ADR) ने 1,618 उम्मीदवारों के हलफनामे में दी गई जानकारी पर एक रिपोर्ट तैयार की। इनमें से 16% यानी 252 उम्मीदवार पर क्रिमिनल केस दर्ज हैं। वहीं, 450 यानी 28% उम्मीदवार करोड़पति हैं। इनके पास एक करोड़ या उससे ज्यादा की संपत्ति है। 10 ने अपनी संपत्ति शून्य बताई है, जबकि तीन के पास 300 से 500 रुपए की संपत्ति है। इसके साथ ही अरुणाचल और सिक्किम की 92 विधानसभा क्षेत्रों के लिए भी मतदान होने जा रहा है। इन सभी लोकसभा एवं विधानसभा सीटों के लिए बुधवार शाम को चुनाव प्रचार थम गया।

इस लोकसभा चुनाव के प्रथम चरण में आठ केंद्रीय मंत्री, दो पूर्व मुख्यमंत्री और एक पूर्व राज्यपाल सहित कई दिग्गज नेताओं का भाग्य मतदान के बाद वोटिंग मशीनों में बंद हो जाएगा और 4 जून को नतीजे आयेंगे। हालांकि सिक्किम और अरुणाचल प्रदेश विधानसभा के नतीजे 2 जून को ही आ जायेंगे। पहले चरण में लोकसभा के लिए अरुणाचल प्रदेश की सभी दो, असम की 14, बिहार की चार, छत्तीसगढ़ की 11, मध्य प्रदेश छह सीट, महाराष्ट्र की पांच, मणिपुर की दो सीट, मेघालय की सभी दो सीट, मिजोरम की एक, सिक्किम की एक, नगालैंड की एक, राजस्थान की 12, तमिलनाडु की सभी 39, त्रिपुरा की एक सीट, उत्तर प्रदेश की आठ, लक्षद्वीप की एकमात्र, पुडुचेरी की एकमात्र, उत्तराखंड की सभी पांच, पश्चिम बंगाल की तीन, अंडमान और निकोबार द्वीप समूह की एकमात्र और जम्मू-कश्मीर की एक सीट पर मतदान होगा।

पहले चरण के चुनाव में उत्तर प्रदेश की सहारनपुर, रामपुर, पीलीभीत, मुजफ्फरनगर, असम की डिब्रूगढ़, सोनितपुर, छत्तीसगढ़ की बस्तर, बिहार की जमुई, गया तथा जम्मू कश्मीर की उधमपुर सीट काफी महत्वपूर्ण है। इसी तरह से मध्य प्रदेश की छिंदवाड़ा, तमिलनाडु की चेन्नई उत्तर, चेन्नई दक्षिण, चेन्नई सेंट्रल, कोयंबटूर, थूथुक्कुडी, तिरुनेलवेली, कन्याकुमारी, मणिपुर दो आंतरिक और बाह्य सीट, राजस्थान की बीकानेर और पश्चिम बंगाल की कूचबिहार और अलीपुरद्वार अहम सीट है।

इन सीटों पर सभी की निगाहें टिकी रहेंगी। इसी चरण में केंद्रीय सड़क एवं परिवहन मंत्री नितिन गडकरी नागपुर से जीत की हैट्रिक लगाने की चाह में हैं। दो बार के सांसद और केन्द्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह उधमपुर में हैट्रिक लगाने का लक्ष्य लेकर चल रहे हैं। 52 वर्षीय केंद्रीय मंत्री किरण रिजिजू ने 2004 से तीन बार अरुणाचल पश्चिम सीट निर्वाचन क्षेत्र का प्रतिनिधित्व किया है। केन्द्रीय मंत्री एवं असम के पूर्व मुख्यमंत्री सर्बानंद सोनोवाल असम के डिब्रूगढ़ से लोकसभा में वापसी की उम्मीद कर रहे हैं।

जाट बहुल सीट मुजफ्फरनगर से केंद्रीय मंत्री संजीव बालियान फिर चुनावी मैदान में हैं। अलवर से केंद्रीय मंत्री और राज्यसभा सदस्य भूपेंद्र यादव अपनी किस्मत आजमा रहे हैं। बीकानेर से केंद्रीय कानून मंत्री अर्जुन राम मेघवाल, तमिलनाडु की नीलगिरी लोकसभा सीट से केंद्रीय मंत्री एल मुरुगन चुनाव मैदान में हैं। मुरुगन मध्य प्रदेश से राज्यसभा सदस्य हैं। तेज तर्रार नेता की छवि बनाए तमिलनाडु भाजपा अध्यक्ष के. अन्नामलाई कोयंबटूर से चुनाव लड़ रहे हैं। शिवगंगा के सांसद कार्ति चिदंबरम फिर से चुनाव मैदान में हैं। उनके पिता और कांग्रेस सरकार में मंत्री रहे चिदंबरम यहां से सात बार जीते हैं। तेलंगाना की राज्यपाल और पुडुचेरी की उपराज्यपाल पद से इस्तीफा देकर राजनीति में लौटी तमिलिसाई सौंदर्यराजन चेन्नई दक्षिण से चुनाव लड़ रही हैं। 

असम के कलियाबोर से 2014 और 2019 में जीते कांग्रेस के युवा नेता गौरव गोगोई अबकी जोरहाट से कांग्रेस के उम्मीदवार हैं। मणिपुर के कानून और शिक्षा मंत्री बसंत कुमार सिंह इनर मणिपुर से भाजपा के उम्मीदवार हैं। उत्तरी राजस्थान में भाजपा के गढ़ चूरू से दो बार के पैरालंपिक स्वर्ण पदक विजेता भाला फेंक खिलाड़ी भाजपा उम्मीदवार देवेंद्र झाझरिया पहली बार चुनावी मैदान में हैं। कांग्रेस नेता और मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री कमल नाथ के बेटे नकुल नाथ छिंदवाड़ा से दोबारा चुनाव लड़ रहे हैं।

दूसरे चरण के तहत 26 अप्रैल को 89, तीसरे चरण के तहत 7 मई को 94, चौथे चरण के तहत 13 मई को 96, पांचवें चरण के तहत 20 मई को 49, छठे चरण के तहत 25 मई को 57 और सातवें चरण के तहत 1 जून को लोकसभा की 57 सीटों पर मतदान होगा। नतीजों की घोषणा 4 जून को होगी। 

पहले फेज के चुनाव के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने बीजेपी के कैम्पेन का नेतृत्व किया। पहले चरण का चुनाव प्रचार खत्म होने तक पीएम मोदी 36 रैलियां और 7 रोड शो कर चुके हैं। गृह मंत्री अमित शाह अब तक 22 सार्वजनिक कार्यक्रम कर चुके हैं, जिनमें 8 रोड शो और 14 जनसभाएं शामिल हैं।

राजनाथ सिंह ने 12 राज्यों में 26 जनसभाएं और 3 रोड शो किए हैं। बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने पहले चरण का चुनाव प्रचार समाप्त होने तक 18 रैलियां, 3 रोड शो और 4 संगठनात्मक बैठकें की हैं। मल्लिकार्जुन खड़गे और राहुल गांधी जैसे कांग्रेस के नेताओं और अन्य दलों ने भी अपने उम्मीदवारों के लिए प्रचार किया. पहले चरण के चुनाव प्रचार में भाजपा ने भ्रष्टाचार, वंशवाद की राजनीति और संविधान तथा हिंदू धर्म का अपमान करने को लेकर इंडिया गुट पर हमला बोला।

विपक्षी दलों के नेताओं ने चुनावी बॉन्ड, एजेंसियों के कथित दुरुपयोग, महंगाई और बेरोजगारी सहित अन्य मुद्दों पर सरकार को घेरा। भाजपा ने अपने घोषणापत्र में लोकलुभावन वादों और एनआरसी जैसे विवादास्पद मुद्दों से किनारा करते हुए विकास और कल्याण को प्राथमिकता दी। उसने अपने मेनिफेस्टो को 'मोदी की गारंटी' नाम दिया और मुख्य रूप से सरकार की मौजूदा कल्याणकारी योजनाओं पर ही ध्यान केंद्रित किया। भाजपा ने अपने घोषणा पत्र में एक-राष्ट्र-एक-चुनाव और समान नागरिक संहिता को लागू करने की प्रतिबद्धता को दोहरायी।

कांग्रेस ने 'न्याय पत्र' नाम से 45 पन्नों का अपना घोषणापत्र जारी किया और उसमें  न्याय के पांच स्तंभों और उनके तहत 25 गारंटियों पर ध्यान केंद्रित किया। अप्रेंटिस का अधिकार, एमएसपी की कानूनी गारंटी, एससी, एसटी और ओबीसी के लिए आरक्षण पर 50 प्रतिशत की सीमा बढ़ाने के लिए संवैधानिक संशोधन, राष्ट्रव्यापी जाति जनगणना और अग्निपथ योजना को खत्म करना घोषणापत्र में पार्टी द्वारा किए गए प्रमुख वादों में शामिल रहे। हालांकि, पीएम मोदी ने कांग्रेस के घोषणा पत्र की आलोचना करते हुए कहा कि इसमें मुस्लिम लीग की छाप दिखती है और इसके 'हर पन्ने से भारत को तोड़ने की बू आती है।'

2019 में 102 सीटों में से 45 पर UPA और 41 पर NDA ने दर्ज की थी जीत

2019 में, यूपीए ने इन 102 सीटों में से 45 और एनडीए ने 41 सीटें जीती थीं। पहले चरण में तमिलनाडु (39), उत्तराखंड (5), अरुणाचल प्रदेश (2), मेघालय (2), अंडमान और निकोबार द्वीप समूह (1), मिजोरम (1), नागालैंड (1), पुडुचेरी (1), सिक्किम (1) और लक्षद्वीप (1) की सभी सीटों पर मतदान होगा। इसके अलावा राजस्थान में 12, उत्तर प्रदेश में 8, मध्य प्रदेश में 6, असम और महाराष्ट्र में 5-5, बिहार में 4, पश्चिम बंगाल में 3, मणिपुर में 2, जम्मू-कश्मीर और छत्तीसगढ़ और त्रिपुरा में एक-एक सीट पर मतदान होगा।

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